ओडिशा । बीसीआई ने मंगलवार को एक प्रेस विज्ञप्ति जारी की है और कहा कि 43 वकीलों को ओडिशा में राज्य हाईकोर्ट की स्थायी पीठ की स्थापना की मांग सहित अन्य मुद्दों पर तोड़फोड़ करने के आरोप में निलंबित कर दिया है। उक्त निलंबन तत्काल प्रभाव से 18 महीने की अवधि के लिए है।
विज्ञप्ति में कहा है कि बीसीआई के अध्यक्ष मनन कुमार मिश्रा ने संबलपुर जिला बार एसोसिएशन के सभी सदस्यों को यह कहते हुए अगले आदेश तक निलंबित कर दिया है कि उनका आचरण पेशेवर आचरण और शिष्टाचार के खिलाफ है। आगे बीसीआई ने कहा कि वकीलों ने बीसीआई के खिलाफ नारेबाजी की और न्यायाधीशों और पदाधिकारियों के पुतले जलाए। आगे कहा कि साथ ही कहा कि अदालत कक्ष में बिना आज्ञा के प्रवेश किया और अदालत कक्ष के अंदर और बाहर कंप्यूटर सेट और अन्य संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया और पुलिस अधिकारियों और कर्मियों के साथ मारपीट की। इसको लेकर कई वीडियो भी जिसमें साफ दिख रहा है कि वकील दुर्व्यवहार कर रहे हैं। वकील पदाधिकारी कोर्ट रूम में घुसे और कंप्यूटर सेट को क्षतिग्रस्त कर दिया। बार काउंसिल ऑफ इंडिया इस तरह की गुंडागर्दी को बर्दाश्त नहीं कर सकती है और ऐसे अधिवक्ताओं को कभी भी नेक पेशे में बने रहने की अनुमति नहीं देगी।
सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को राज्य पुलिस को उन प्रदर्शनकारियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने के लिए फटकार लगाई ।