अखिलेश यादव कन्नौज से वापस इटावा लौट रहे थे। तभी अचानक उनकी गाड़ियों का काफिला बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे की ओर चल दिया। अखिलेश करीब 4 किलोमीटर तक एक्सप्रेस वे को देखा। कुदरैल किलोमीटर 295 पर चढ़े 291 किलोमीटर ताखा के सुख्या तक एक्सप्रेस वे को देखा। वही अखिलेश ने यूपीड़ा के अधिकारियों,मजदूरों से बातचीत की ।
दरअसल बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे का उद्धघाटन 16 जुलाई को भव्य तरह से पीएम मोदी व सीएम योगी ने किया था उसके 5 दिन बाद हुई बारिश में 296 किलोमीटर फोर लेन एक्सप्रेस वे जगह जगह धसक गया, कई जगह सड़क से डामर उखड़कर गड्ढे हो गये । 15 हजार करोड़ से निर्मित इस प्रोजेक्ट की खराब गुणवत्ता को लेकर विपक्षी दल हमला कर रहे है ।
आगरा लखनऊ एक्सप्रेस वे जब मैने बनवाया तो एक बात मै हमेशा कहता था। अमेरिका ने सड़कें बनाई और सड़कों ने अमेरिका बनाया। इन सड़कों के किनारे विकास हो सकेगा।
आगे उन्होंने कहा कि एक्सप्रेस वे जो बनी थी इसलिए बनी थी कि किसानों की पैदावार की अच्छी कीमत मिले मंडी से, अगर एक्सप्रेस वे के किनारे मंडी नही होगी या कारखाना उद्योग नही लगेगा तो इनके पैदावार की कीमत नही मिलेगी। न नौकरी न रोजगार मिलेगा।