-आर के श्रीवास्तव: प्रमुख संवाददाता
लखनऊ 24 दिसंबर
भारत के पूर्व प्रधानमंत्री तथा भारत रत्न, प्रखर वक्ता, विरोधियों के अजात शत्रु तथा महान कवि अटल बिहारी वाजपेई की जन्मशताब्दी वर्ष की पूर्व संध्या पर साइंटिफिक कन्वेंशन सेंटर केजीएमयू लखनऊ में आयोजित हुआ डा. कुमार विश्वास द्वारा अटल काव्य गंगा का एकल काव्य पाठ।
अटल बिहारी वाजपई मेमोरियल फाउंडेशन,जिसके अध्यक्ष उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक है, ने कहा कि अटल जी की लखनऊ के विकास के सपनों को साकार करने के रास्ते पर हमारी सरकार चल रही है और कहा कि कौन सोचता था कि लखनऊ अंतर्राष्ट्रीय फलक पर चमकेगा।आज लखनऊ के अंतर्राष्ट्रीय एयरपोर्ट पर लोग आते हैं तो तो पातें हैं कि दुबई, शारजाह और लंदन के हीथ्रो हवाई अड्डा से बेहतर हमारे लखनऊ के एयरपोर्ट बनकर तैयार हुआ है और यह माननीय राजनाथ सिंह के नेतृत्व और मार्गदर्शन में बनकर तैयार हुआ है। जब लखनऊ के उद्योग धंधों और कारखानों के लिए कोई राजनाथ सिंह जैसा सांसद सोचेगा तो कुछ बड़ा ही सोचेगा। आज लखनऊ में एक बड़े कारखाने का विकास हो रहा है जिसमें ब्रह्मोस मिसाइल बनकर तैयार हो रही है ।यह मिसाइल दुश्मन पर वार करेगी तो उस पर मेड इन लखनऊ लिखा रहेगा यह हमारे लिए गर्व की बात होगी। लखनऊ के चौमुखी विकास में ट्रैफिक की समस्या को ध्यान में रखते हुए हमारे राजनाथ सिंह जी ने केंद्रीय मंत्री से बात की और मांग की कि मेट्रो की सेकंड और थर्ड फेज की तत्काल स्वीकृति दी जाए। डिप्टी सीएम बृजेश पाठक ने बताया कि अटल जी खाने पीने के शौकीन थे और हमने 1090 चौराहे पर चटोरी गली का विकास कराया जहां खाने-पीने के शौकीन लोग वहां अपनी रुचि के अनुसार खा पी सकते हैं। एलडीए ने जब चटोरी गली की दुकानों पर टैक्स की दरें बढ़ा दी और और जब हमारे लखनऊ के सांसद राजनाथ सिंह जी को पता चला तो उन्होंने एलडीए के अधिकारियों से कहा कि यह नहीं चलेगा और टैक्स कम कराया।
डॉ दिनेश शर्मा ने कहा कि डॉ कुमार विश्वास की कविताओं के माध्यम से अटल जी को सच्ची श्रद्धांजलि जाएगी।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अटल जी को स्मरण करते हुए कहा की हर दल – हर भारतवासी सम्मान का भाव रखता है।
मुख्यमंत्री योगी ने अटल जी की एक कविता पढ़ी कि-
‘मेरे प्रभु मुझे इतनी ऊंचाई कभी मत देना –
गैरों को गले ना लगा सकूं, इतनी रुखाई कभी मत देना”
प्रख्यात कवि डॉ कुमार विश्वास ने मीडिया पर कटाक्ष करते हुए कहा कि मैं लखनऊ 5 दिनों के लिए आया हूं और बोलता हूं लेकिन मुझे मीडिया सिर्फ 20 सेकंड का समय देता है ।
कवि कुमार विश्वास ने कृष्ण और राधा के बारे में अपनी कविताओं के माध्यम से बताया कि राधा ने हाथ पकड़ कर कहा-
‘इसी हाथ से मुरली का स्पर्श होगा लेकिन शिशुपालों के गर्दन उड़ाने वाले हाथों में सुदर्शनचक्र को धारण करते-करते आपके हाथों में गड्ढे पड़ गए हैं -आओ द्वारकाधीश”
सफलता की शिखर तक पहुंचने की दुश्वारियां का जिक्र करते हुए कुमार विश्वास जी ने कहा कि हमारे सामने मंच पर आसीन रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक और केशव प्रसाद मोर्य तथा अन्य सभी विशिष्ट अतिथियों के सामने कहा कि सफलता एक दिन में नहीं आती और भगवान कृष्ण के त्याग का उदाहरण देते हुए बहुत ही सुंदर ढंग से कहा
“कृष्ण बनने के पहले शर्त इतनी सी है –
अपनी गोकुल व राधाएं और बांसुरी छोड़नी पड़ती है।’
एक बहुत ही सुंदर कविता का मंचन भी कुमार विश्वास ने किया-
“मथुरा छूटी- छूटी द्वारिका, इंद्रप्रस्थ ठुकराऊं
बंसी छूटी -गोकुल छूटा,कब तक चक्र उठाऊं।”
सामने बैठे हुए श्रोताओं के लिए कहा –
“महफिल का शहसवार फकत नाखुदा नहीं
महफिल में बैठने का सलीका भी चाहिए।”
कार्यक्रम में अटल शताब्दी समारोह स्मारिका का विमोचन भी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के द्वारा तमाम गणमान्य विशिष्ट अतिथियों की उपस्थिति में किया गया।